तीनों ले जाओ

प्रेषक : निक्की एक दिन नदी किनारे लकड़ी काटने वाला प…

भाभी के मटकते चूतड़

मेरा नाम जय है, मैं राजकोट में अपने माता-पिता के …

खामोश शर्मिन्दगी

बहुत देर से रेलवे आरक्षण की लम्बी कतार में खड़े रहने…

गेहूँ की सिँचाई का फल

दोस्तो, नमस्कार ! आपने मेरी कहानी ‘गेहूँ की सिंचाई’…

माया मेमसाब की मालिश और चुदाई

प्रेषक : समीर कहानी से पहले मैं अपना परिचय दे दूँ,…

My Love Story – Part II

Hi friends, preeti se pehli baar hui kissing k ba…

नौकरी मिलने की पार्टी-1

दोस्तो, मेरी कहानियों पर बहुत से अनजान मित्रों के म…

नौकरी मिलने की पार्टी-2

शनिवार को मेरा इंटरव्यू था। नियत समय पर मैं गया। क…

बरसात की एक रात पूनम के साथ-2

तभी बारिश आ गई। हम दोनों नीचे आते आते पूरे ही भीग…

निशा का प्रारब्ध-1

लेखक : जूजा जी “निशा जल्दी करो, स्कूल के लिए देर हो…