कुंवारी भोली–7

शगन कुमार रात को मुझे नींद नहीं आ रही थी। हरदम नि…

कुंवारी भोली–13

मैंने वे कपड़े पहन लिए। इतने महँगे कपड़े मैंने पहले…

कुंवारी भोली -2

भोंपू को कुछ हो गया था… उसने आगे खिसक कर फिर संपर्…

कुंवारी भोली–6

शगन कुमार मैं खाना गरम करने में लग गई। भोंपू के स…

काशीरा-लैला -4

“वाह.. भतीजे के लाड़ दुलार चल रहे हैं, उसे मलाई खि…

काशीरा-लैला -2

‘दुआ से काम नहीं चलेगा चचाजी। इमरान को माल चाहिये…

निशा का नशा

प्रेषक : संजू बाबा अन्तर्वासना के सभी पाठकों को मेरा…

कुंवारी भोली–12

शगन कुमार दरवाज़े पर महेश और उसके साथियों को देख क…

मेरी प्यारी कान्ता चाची

प्रेषक : आर्यन सिंह मेरे प्यारे दोस्तो, आज मैं आपको अ…

तेरी याद साथ है-9

प्रेषक : सोनू चौधरी मैंने उसका हाथ पकड़ा और वापस अप…